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ज्ञानवापी परिसर में कड़ी सुरक्षा में वजूखाने की सफाई का काम पूरा, टैंक में मरी मिलीं 10 मछलियां

वाराणसी : सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद वाराणसी के ज्ञानवापी परिसर स्थित सील वजूखाने की सफाई का काम सुबह 9 बजे से शुरू कर दिया गया. सुबह 11 बजे के बाद तक यह काम पूरा कर लिया गया. कर्मी वापस लौट चुके हैं. टैंक में करीब 10 मछलियां मरी मिलीं. इस दौरान सुरक्षा व्यवस्था कड़ी रखी गईय गुरुवार को जिलाधिकारी वाराणसी एस राज लिंगम की अध्यक्षता में हिंदू पक्ष, अंजुमन इंतजामियां मस्जिद कमेटी संग और पुलिस अफसरों की बैठक में यह निर्णय लिया गया था. नगर निगम टीम में अलावा अधिकारियों की टीम भी मौके पर मौजूद रही.

अंजुमन इंतजामिया ने दिया था प्रार्थना पत्र : दरअसल ज्ञानवापी परिसर के अंदर कमीशन की कार्रवाई के दौरान वजूखाने में शिवलिंगनुमा पत्थर की आकृति मिली थी. सुप्रीम कोर्ट में अपील करते हुए इस पूरे परिसर को ही सील करवा दिया गया था. हिंदू पक्ष की एप्लीकेशन पर वजूखाना सील होने के बाद इसके अंदर मौजूद मछलियों के मरने की शिकायत पिछले दिनों अंजुमन इंतजामिया ने जिला अधिकारी को एप्लीकेशन देकर की थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट के आदेश की वजह से इसकी सफाई नहीं हो पा रही थी. इसके बाद विष्णु शकंर जैन ने 2 जनवरी 2024 को सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने पिछले दिनों आदेश देकर इसकी सफाई जिला अधिकारी की निगरानी में करने के लिए कहा था.

सफाई कर्मियों के अलावा किसी को भी प्रवेश की अनुमति नहीं : श्री काशी विश्वनाथ धाम में पिछले दिनों हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद दोनों पक्ष के दो-दो प्रतिनिधि सील वजूखाने की सफाई के दौरान अंदर मौजूद रहे. कोई भी पक्ष वजूखाने की जाली के अंदर नहीं गया. सिर्फ सफाई कर्मचारी ही अंदर गए. ऐहतियातन साफ-सफाई का काम पूरी निगरानी में की गई. साफ-सफाई के काम के दौरान सुरक्षा की व्यवस्था भी बहुत मजबूती के साथ रखी गई. सील वजूखाना में किसी को भी अनाधिकृत रूप से प्रवेश की अनुमति नहीं दी गई थी. सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में स्पष्ट तौर पर कहा था कि टैंक की सफाई वाराणसी के जिला कलेक्टर की देखरेख में कराई जाए.

जिलाधिकारी भी पहुंचे परिसर के अंदर : सुबह जिलाधिकारी वाराणसी एस राज लिंगम भी परिसर के अंदर पहुंचे. सफाई के लिए पानी निकालने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. तीन वाटर पंप लगाए गए थे. 26 सदस्यीय दल जिसमें हिंदू और मुस्लिम पक्ष के साथ-साथ नगर निगम के सफाई कर्मी शामिल हैं, सुबह 9 बजे टीम पहुंच गई. अपना पहचान पत्र दिखाते हुए ज्ञानवापी के अंदर प्रवेश किया. इससे पूर्व चेकिंग के बाद सभी उपकरणों को अंदर ले जाया गया.

बता दें कि 16 मई 2022 में सुप्रीम कोर्ट में मस्जिद के वजूखाने में शिवलिंग नुमा आकृति पाए जाने के दावे के बाद इसे सील करने का आदेश दिया था. तब से इसकी सफाई नहीं हो पाई है. आज सफाई के बाद इसमें मौजूद जिंदा मछलियों को मुस्लिम पक्ष को सुपुर्द कर दिया गया. जबकि मृत मछलियों का निस्तारण नगर निगम कर्मचारी करेंगे. नगर निगम के कर्मचारियों को स्पेशल निर्देश दिया गया था कि अंदर मौजूद किसी भी चीज को या कलाकृतियों को हाथ न लगाया जाए. शिवलिंग नुमा आकृति को तो बिल्कुल भी ना छेड़ने की हिदायत दी गई थी.

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