प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तराखंड के अल्मोड़ा में शुक्रवार को विजय संकल्प सभा को संबोधित किया. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि मैं देख रहा हूं कि मतदाता कभी अच्छे कामों को भूलते नहीं हैं, अच्छे इरादों को भूलते नहीं हैं और कभी भी नेक नियत वालों का साथ छोड़ते नहीं हैं. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में की पहले चरण के मतदान में भी भाजपा के लिए जबरदस्त उत्साह का वातावरण रहा. कल का मतदान, लोगों का उत्साह, लोगों की एकजुटता से पता लगता है कि भाजपा सारे पुराने रिकॉर्ड तोड़ने वाली है. उत्तराखंड के लोग ये बात जानते हैं कि, भाजपा सरकार ही इस दशक को उत्तराखंड का उज्ज्वल दशक बना सकती है. इसलिए, एक बार फिर डबल इंजन की सरकार, उत्तराखंड में आना तय है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हमारी सरकार ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास’ का संकल्प लेकर काम कर रही है. लेकिन हमारा विरोध करने वालों का फॉर्मूला है- ‘सबमें डालो फूट, मिलकर करो लूट’! पूरे देश में कांग्रेस की नीति रही है- सबमें डालो फूट, मिलकर करो लूट’. उन्होंने आगे कहा कि विरोधियों ने हमेशा कुमाऊं और गढ़वाल की लड़ाई कराने की कोशिश की, ताकि ये दोनों जगह को लूट सकें. जबकि डबल इंडन की सरकार ने दोनों जगह के लिए डबल काम करने की कोशिश की है. हमारे लिए पूरा उत्तराखंड देवभूमि है.
टीके पर टोकाटाकी
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि टीके पर टोकाटाकी करने वाले ये लोग क्या कह रहे थे? ये कहते थे कि पहाड़ों पर हर एक गांव तक वैक्सीन पहुंच ही नहीं सकती! उत्तराखंड पर इतना अविश्वास है इन लोगों का. जबकि भाजपा सरकार, उत्तराखंड के लोगों को कोरोना से बचाने के लिए दिन-रात मेहनत करती रही. उन्होंने कहा कि यही लोग कहते थे कि पहाड़ों पर सड़कें बनाना आसान नहीं, इसलिए यहाँ तो ऐसे ही चलना पड़ता है! लेकिन आज उत्तराखंड में चारों धामों को जोड़ने के लिए ‘आल वेदर’ रोड का काम चल रहा है. जहां ये सड़क को मुश्किल बताते थे, वहाँ आज पहाड़ों पर रेल भी पहुंच रही है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन परियोजना का काम तो चल ही रहा है, टनकपुर-बागेश्वर रेलवे लाइन का सपना भी आने वाले समय में जरूर साकार होगा और हम ही पूरा करेंगे. मैं यहां के हर इलाके से परिचित हूं. आपकी ताकत को, आपके सामर्थ्य को, आपकी नेक नीयत, आपकी ईमानदारी, आपकी देशभक्ति को मैं भली-भांति जानता हूं. ये दशक उत्तराखंड का दशक है. मेरे लिए उत्तराखंड का विकास सर्वोच्च प्राथमिकताओं में से एक है.
बजट में उत्तराखंड का ध्यान रखते हुए योजनाएं
पीएम मोदी ने कहा कि हमने इस बार के बजट में उत्तराखंड का विशेष ध्यान रखते हुए एक योजना बनाई है, पवर्तमाला परियोजना. हिंदुस्तान में पहली बार पवर्तमाला परियोजना की कल्पना आई और किसी को और योजना बनकर आपके सामने आया है. उन्होंने कहा कि पहले की सरकारों में उत्तराखंड के सीमावर्ती गांव, तहसील, जिलों को अनदेखा किया गया. भाजपा सरकार ने सीमावर्ती क्षेत्र के विकास के लिए योजना बनाई है. इन सीमावर्ती क्षेत्रों के लिए हमने ‘वाइब्रेंट विलेज’ योजना बनाई है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि कुमाऊं को तो वैसे भी मंदिरों का स्थान कहते हैं. अल्मोड़ा के कटारमल सूर्य मंदिर पर अगर ध्यान दिया गया होता, तो ओडिशा के कोणार्क सूर्य मंदिर की तरह यहां भी देश-विदेश से पर्यटक आते. हमने कटारमल सूर्य मंदिर को उसकी पहचान देने का संकल्प लिया है. उन्होंने कहा कि एक तरफ पुष्कर सिंह धामी जी के युवा नेतृत्व वाली सरकार है, जो पर्यटन, प्रगति और रोजगार के लिए काम कर रही है. दूसरी ओर, वो पुरानी मानसिकता है जिसने दशकों तक उत्तराखंड में पलायन के हालात पैदा किए.
पानी की समस्या का किया समाधान
पीएम मोदी ने कहा कि मैं यहां आता था तो देखता था माताओं-बहनों को सर पर बंठों में कितनी कितनी दूर पानी लाने जाना होता था. साथ में छोटे बच्चे भी डब्बे या छोटे से कुप्पे में पानी ढोते थे. लेकिन कांग्रेस के लोगों को इसकी चिंता नहीं होती थी. उन्होंने कहा कि इस साल केंद्र सरकार ने गरीबों के लिए देश भर में 80 लाख नए पक्के घर बनाने का तय किया है. उत्तराखंड में जिन गरीबों को पक्के घर मिलने रह गए हैं, उन्हें हमारी सरकार खोज-खोज कर पक्के घर देने का काम करेगी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि जल्द से जल्द उत्तराखंड के घरों को नल से जल योजना से जोड़ दिया जाएगा. हमारी किसी भी मां-बहन को पानी के भटकना नहीं पड़ेगा. आपका मोदी दा आपको ये विश्वास दे रहा है. डबल इंजन की सरकार, गरीब का दर्द समझती है, उसकी दिक्कतों को दूर करने के लिए दिन-रात काम कर रही है. कोरोना संकट के समय में हमारी सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के जरिए मुफ्त राशन की ज़िम्मेदारी भी निभाई है.
कांग्रेस का उत्तराखंड के लोगों से जुड़ाव नहीं है
पीएम मोदी ने कहा कि जिस उत्तराखंड के हर घर से सेना के वीर जवान निकलते हैं, जिस उत्तराखंड की सन्तानें दुश्मन की गोली, गोलों और तोपों के सामने नहीं डरतीं, उनके नाम के आगे ये लोग डर जोड़ रहे हैं. मैं कांग्रेस के लोगों से कहूंगा, उत्तराखंड से जुड़ाव नहीं है, ये तो हमें पता चलता है, इसका तो पूरे उत्तराखंड को अनुभव है. लेकिन कम से कम उत्तराखंड के बारे में पढ़ लिख तो लीजिए, कुछ जान समझ तो लीजिए. उन्होंने कहा कि ये लोग ‘उत्तराखंडियत’ की बात करने वाले लोग नहीं, ये खंड-खंड करने वाले, तोड़ने वाले लोग हैं. अब तो देवभूमि में यूनिवर्सिटी के नाम पर भी तुष्टीकरण का जहर घोलने की बातें सुनाई दे रही हैं. हमें इस विभाजनकारी सोच से देवभूमि की पवित्रता को नष्ट नहीं होने देना है.