मध्य प्रदेश परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा और उनके करीबियों के ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा की गई छापेमारी, मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है। ईडी ने यह कार्रवाई ऐसे समय में की है, जब सौरभ शर्मा पहले ही लोकायुक्त और आयकर विभाग के निशाने पर थे। लोकायुक्त और आयकर विभाग ने उनकी संपत्तियों और वित्तीय लेन-देन की जांच की थी, जिसमें कई संदिग्ध मामले सामने आए थे।
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ईडी की छापेमारी के दौरान करोड़ों रुपये की बेहिसाब संपत्ति और नकदी बरामद की गई है, जिससे यह साफ हो गया है कि सौरभ शर्मा और उनके करीबियों के बीच अवैध धन के लेन-देन का बड़ा नेटवर्क चल रहा था। इस मामले में ईडी अब और गहराई से जांच कर रहा है, और माना जा रहा है कि जल्द ही और गिरफ्तारियां भी हो सकती हैं। इस कार्रवाई से यह भी साबित होता है कि प्रवर्तन निदेशालय वित्तीय अपराधों और मनी लॉन्ड्रिंग के मामलों में कठोर कदम उठा रहा है।