भव्य समारोह में भजनलाल ने ली राजस्थान के 14वें मुख्यमंत्री की शपथ, 20 साल बाद बने दो डिप्टी सीएम
जयपुर. राजस्थान में दोपहर करीब 1 बजे शपथ ग्रहण समारोह शुरू हुआ. सबसे पहले भजनलाल शर्मा ने सीएम पद की शपथ ली. उनके बाद दीया कुमारी और प्रेमचंद बैरवा ने मंत्रिमंडल सदस्य के तौर पर शपथ ली. अशोक गहलोत सरकार के शासन के बाद बीजेपी पूर्ण बहुमत के साथ राजस्थान में सरकार बनाने में कामयाब रही. शपथ ग्रहण के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा समेत बीजेपी के कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहे.
20 साल बाद बने दो डिप्टी सीएम : राजस्थान में ऐसा 20 साल बाद हुआ है, जब राजस्थान को दो डिप्टी सीएम मिले हैं. दीया कुमारी और प्रेमचंद बैरवा को मंत्रिमंडल सदस्य की शपथ दिलवाने के साथ ही उपमुख्यमंत्री बनाया गया है. इसके पहले 1998 में अशोक गहलोत सरकार के पहले कार्यकाल के आखिरी साल में मंत्रिमंडल विस्तार के बाद दो उप मुख्यमंत्री बनाए गए थे, जिनमें बनवारी लाल बैरवा और कमला बेनीवाल के नाम शामिल थे. जबकि उसके पहले भैरों सिंह शेखावत सरकार में हरिशंकर भाभड़ा भी डिप्टी सीएम के रूप में काम कर चुके थे.
दो डिप्टी सीएम बनाने की प्रथा अशोक गहलोत के दौर में शुरू हुई और अब भारतीय जनता पार्टी के शासनकाल में पहली बार ऐसा संभव हुआ है. इस बार तीन राज्यों में जीत के बाद राजस्थान से पहले छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में भी बीजेपी दो-दो उपमुख्यमंत्री बन चुके हैं.
1952 में बने थे पहले उपमुख्यमंत्री : किसी भी सरकार में उपमुख्यमंत्री के पद को संवैधानिक मान्यता नहीं होती है, यह एक राजनीतिक ओहदे के रूप में ही जाना जाता है. देश में सबसे पहले बिहार में उपमुख्यमंत्री बनाया गया था, वहीं राजस्थान में जय नारायण व्यास की सरकार में टीकाराम पालीवाल को उपमुख्यमंत्री पद पर बैठाया गया. इसके बाद साल 1993 में हरिशंकर भाभड़ा, भैरों सिंह शेखावत सरकार में उपमुख्यमंत्री बने. साल 2003 में बनवारी लाल बैरवा और कमला बेनीवाल को अशोक गहलोत ने अपने सरकार में मुख्यमंत्री के रूप में पद दिया. इसके बाद 2018 में अशोक गहलोत ने भी शपथ लेते वक्त सचिन पायलट को अपने साथ उपमुख्यमंत्री के पद पर शपथ दिलवाई थी. उपमुख्यमंत्री को लेकर खास बात यह है कि टीकाराम पालीवाल उपमुख्यमंत्री बनने के पहले राज्य के मुख्यमंत्री भी रह चुके थे.