कन्नौज जनपद का पुरातात्विक संग्रहालय इतिहास एवं संस्कृति की समृद्ध धरोहर
कन्नौज उत्तर प्रदेश में कानपुर से 80 किमी दूर पवित्र गंगा नदी के तट पर स्थित एक शहर है। शहर का नाम इसके पारंपरिक कान्यकुब्ज नाम का आधुनिक संस्करण है। प्राचीन काल में इसे ‘हर्षवर्धन नगरी’ के नाम से जाना जाता था। कन्नौज के पुरातात्विक संग्रहालय में मिट्टी की मूर्तियों का एक बड़ा संग्रह है जो दर्शाता है कि कन्नौज कभी मथुरा, काशी और कौशाम्बी जैसी कला और संस्कृति के लिए जाना जाता था। मौर्य काल से यह पूरी तरह से स्थापित स्थान था। यहां खोजे गए मिट्टी के मॉडल दर्शाते हैं कि प्राचीन काल में यह एक बहुत ही प्रगतिशील जनपद था; यहां तक कि ऐतिहासिक चीनी यात्री ह्वेनस्वांग ने भी अपने भारत दौरे के दौरान इस जिले की सराहना की थी।
कन्नौज जनपद का पुरातात्विक संग्रहालय स्थानीय और प्राचीन सांस्कृतिक सामग्री को संग्रह करता है और विभिन्न समयांतरों में शहर के इतिहास को दर्शाता है। यहां देखने को मिलते हैं चित्रकला, मूर्तिकला और अन्य प्राचीन वस्तुएं इस क्षेत्र के सांस्कृतिक विकास की कहानी सुनाती हैं। कन्नौज जिले का पुरातात्विक संग्रहालय भारतीय संस्कृति की विविधता और धरोहर को समर्पित है। यहां के संग्रह में भारतीय लोक कला, संस्कृति के प्रमुख तत्व और उत्तर प्रदेश के इतिहास की दस्तावेज सुन्दर ढंग से प्रदर्शित हैं।
इस संग्रहालय को ज्यादातर पर्यटकों और सांस्कृतिक शौकियों के लिए एक आकर्षक स्थल माना जाता है। यहां आपको भारतीय संस्कृति के प्रमुख पहलुओं को समझने और उसकी समृद्धि के पीछे के कारणों को जानने का एक अच्छा अवसर मिलता है। यह संग्रहालय भारतीय इतिहास, कला और संस्कृति के प्रतिष्ठित अध्ययन के लिए भी महत्वपूर्ण माना जाता है और समृद्ध भारतीय धरोहर को संजोने में मदद करता है।