अमीर गरीब के खाई मिटाने के लिए आर्थिक संतुलन जरूरी: डॉ0 शर्मा
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के पूर्व उपमुख्यमंत्री डॉ0 दिनेश शर्मा ने रविवार को कहा कि देश में अमीर गरीब के बीच की दूरी को मिटाने के लिए आर्थिक संतुलन स्थापित करना आवश्यक है। चार्टेड एकाउन्टेन्टस ऑफ इंडिया द्वारा आयोजित सात राज्यों के सीआईआरसी ओरिएंटेशन कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि देश से गरीबी को मिटाने के जो प्रयास 40 साल पहले होने चाहिए थे वे आज करने पड रहे हैं। आज भी देश में अमीर और गरीब के बीच का अन्तर काफी बडा है। इस अन्तर को दूर करने की जरूरत है। अर्थिक संतुलन ही के बाद ही बाद ही यह संभव है।
उन्होने कहा कि जनता को मकान शौचालय गांव में बिजली देने जैसी मूलभूत सुविधाए देने का जो काम 40 साल पहले हो जाना चाहिए था, वह आज की मोदी योगी सरकार को करना पड रहा है। केन्द्र और राज्य सरकार ने इस दिशा में तेजी से काम आरंभ किया है। प्रधानमंत्री मोदी के मार्गदर्शन में अब आने वाले लम्बे समय के लिए योजनाए बन रही है और क्रियान्वित की जा रही हैं। आज दुनिया भारत की ओर देख रही है।
डा शर्मा ने कहा कि मेक इन इंडिया व आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को साकार करने में चार्टेड एकाउन्टेन्टस प्रभावी पहल कर सकते हैं। प्रदेश सरकार ने पिछले कार्यकाल में नई उद्योग नीति बनाई थी। पूर्व की सरकारों के समय कानून व्यवस्था के चलते निवेश नहीं आता था पर भाजपा सरकार ने माहौल को बदला था। पिछली सरकार के समय में े चार लाख 68 हजार करोड से भी अधिक के निवेश प्रस्ताव आए थे। इनमें से तीन लाख करोड के प्रस्तावों पर काम आरंभ हो चुका है।
उन्होने कहा कि आने वाले समय में सरकार फिर से निवेश लाने के लिए सम्मेलन करने जा रही है। भाजपा सरकार के प्रयासों का परिणाम है कि सूबे में बेरोजगारी की दर कम हुई है। रोजगार के नए अवसर पैदा हुए हैं तथा प्रति व्यक्ति आय बढ़ी है। उत्तर प्रदेश एक ट्रिलियन डॉलर अर्थव्यवस्था की ओर बढ़ रहा है। इस मौके पर आईसीएआई के अध्यक्ष सीए डा0 देवाशीष मिश्रा, सीआईआरसी आफ आईसीएआई के चेयरमैन सीए अतुल मेहरोत्रा, सीए अनुज गोयल, सीए अभय, सीए रोहित रौवतिया, सीए ज्ञान मिश्रा, सीए पवन धवन एवं सेन्ट्रल कौंसिल तथा रीजनल कौंसिल के सदस्य प्रमुख रूप से उपस्थित थे।