आर के भट्ट-
ब्यूरो,कुशीनगर
हत्या की एक अभियुक्त को विशेष न्यायाधीश एससी एसटी कोर्ट कुशीनगर विजय कुमार हिमांशु के द्वारा आजीवन कारावास के साथ ₹20000 अर्थदंड की सजा सुनाई है।
मंगलवार को सरकार बनाम शारदा तिवारी प्रकरण में विशेष न्यायाधीश एससी एसटी कोर्ट के द्वारा अभियुक्त सुरेश यादव को आजीवन कारावास के साथ 20000अर्थ दण्ड की सजा सुनाई गई।
प्राप्त जानकारी के अनुसार उक्त प्रकरण में पांच अभियुक्त नामित थे। मुकदमा ट्रायल के दौरान तीन अभियुक्तों की मृत्यु हो गई। शेष दो अभियुक्तों वीरेंद्र तिवारी और सुरेश यादव को लेकर फैसला आना था जिसमें साक्ष्य के अभाव में वीरेंद्र तिवारी बरी हो गए जबकि सुरेश यादव को उक्त सजा सुनाई गई।
प्रकरण थाना तरया सुजान के ग्राम तुलसी पट्टी का है। वर्ष 2000 में शारदा तिवारी ने प्रधानी के चुनाव में अपना कैंडिडेट लड़या था, परंतु घरभरन चुनाव जीत गए और ग्राम प्रधान बने। बता दें कि शारदा तिवारी ने ग्राम पंचायत की जमीन पर कब्जा कर रखा था ।जिसको लेकर निर्वाचित ग्राम प्रधान घरभरन से रंजिश हो गई थी ।
दिनांक 16 एवं 17 अगस्त वर्ष 2000 की रात में अभियुक्त गणों के द्वारा घरभरन को कट्टा तथा बम से हमला करते हुए मौत के घाट उतार दिया गया था। पुलिस ने अभियुक्तों पर धारा 147 ,148, 149, 302 ,504, 506, आईपीसी एवं धारा 3(2)(5) एससी एसटी एक्ट के अंतर्गत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू की थी। विशेष लोक अभियोजक महेंद्र प्रताप गोविंदराव एवं पुलिस अधीक्षक कुशीनगर धवल जायसवाल तथा तरया सुजान पुलिस के पैरोकार विनय गुप्ता की प्रभावी पैरवी के दृष्टिगत अभियुक्त सुरेश यादव के विरुद्ध पर्याप्त साक्ष्य प्रस्तुत किए गए, जिसको लेकर न्यायाधीश ने यह फैसला सुनाया है।