
गोरखपुर। दलित साहित्य एंव संस्कृति मंच-गोरखपुर के तत्वावधान में स्थान- डॉ.अम्बेडकर भवन, डॉ.अम्बेडकर पार्क, हड़हवां फाटक, उत्तरी हेमायूपुर में एक विचार गोष्ठी आयोजित की गयी।” वर्तमान राजनीति परिस्थितिया एवं दलितों का दायित्व ” पर उद्दधाटन भाषण देते हुए डॉ अलख निरंजन जी ने बाबा साहब डॉ अम्बेडकर जी के विचारों को आगे बढ़ाने तथा दलितों के दायित्व पर बिस्तार से चर्चा की वर्तमान राजनीतिक परिस्थितिया में दलितों का दायित्व पर राजनीति में प्रथम बार हिन्दू राजा है, मोदी की सरकार ने पिछले नौ वर्षों में जो कार्य किया है उसका मूल्यांकन करना हमारी जिम्मेदारी है। इस समय कौम जागरूक प्रतिबद्ध दलित हैं जो संविधान को बचाना चाहते हैं।
मुख्यअतिथि के रूप में पूर्व जिला विद्यालय निरीक्षक श्रेध्दय के सी भारती जी ने कहां कि हमारे समाज में उत्पन्न तमाम महापुरुषों में बाबा साहब डॉ अम्बेडकर जी ने सर्वप्रथम मूकनायक पत्रिका निकाले उसके बाद बहिष्कृत भारत, और प्रबुद्ध भारत नाम से समाचार पत्र का प्रकाशन किया, क्योंकि मनुवादियो की मीडिया हमारे सवालों को नहीं उठाती।अब हमारे बहुजन समाज में फेसबुक और यूट्यूब चैनल चल रहें हैं जैसे प्रोफेसर रतन लाल, लक्ष्मण यादव, नीरज पटेल, शम्भूसिह,सहित तमाम बहुजन समाज के लोग अपना प्रेस चला रहे हैं। मंच के उपाध्यक्ष एडवोकेट ध्रुवराम बौद्ध ने कहा कि अबतक जो भी चर्चा हुई है राजनीतिक परिस्थितियों पर चर्चा हुई है। दलितों का दायित्व पर कोई विचार चर्चा ही नहीं हुई, हमारे समाज में इस समय कोई नेता नहीं है जो दलितों के ऊपर हो रहे अत्याचार पर अवाज उठा सकें।
समाज सेविका पूर्व मेयर प्रत्याशी सीमा गौतम ने कहां कि विचार गोष्ठी के ध्दारा हमें अपने समाज को जगाना होगा, सामाजिक कोई भी आन्दोलन हो या मंच हो तबतक सफल नहीं हो सकता है, जबतक हमारी माताएं, बहने और बेटियों को बराबर का सम्मान नहीं दिया जाएगा। मंच के महासचिव राजेश कुमार बौद्ध ने कहा कि बाबा साहब डॉ अम्बेडकर जी ध्दारा दिया गया भारतीय संविधान के माध्यम से जो मतदान का अधिकार मिला है। उस मतदान के अधिकार को जाने और सही मतदान कर अपने भविष्य को सुधारने में आपका वोट ही आपका भविष्य तैयार करता है। यहां के सत्ताधारीओं को इस बात का अच्छी जानकारी थी कि यहां के अनुसूचित जाति एवं जनजाति और पिछड़ी जातियों के लिए अगर पूरा आरक्षण लागू कर दिया तो उनमें एकता पैदा होगी और वह फिर देश के सत्ता में हिस्सेदार बनेंगे और देश की जो संपत्ति है उसमें वह अपना हिस्सा मांगेंगे, इसलिए मनुवादियो ने जान बुझकर इन लोगों को अलग अलग रखने की साजिश की गई।
इस क्रार्यक्रम में तमाम वक्ताओं ने अपने विचार रखे श्रेध्दय हरिशरण गौतम, श्रवण कुमार निराला, अनिल कुमार गौतम, बनवारी लाल पटेल, बुद्धि सागर गौतम,श्रीमती इन्द्रलता भारती, गीता देवी, सीमा गौतम आदि ने अपने विचार रखे। क्रार्यक्रम में विनय कुमार, संतोष, कन्हैया जी, अशोक यादव, नरसिंह गौतम,भगेलू प्रसाद, बी पी गुप्ता, जगदीश चंद, एडवोकेट श्याम मिलन, पटेश्वर प्रसाद, सतीश चंद्र बौद्ध,फागू लाल,डॉ रविन्द्र कुमार,आकर्षित, चंडी प्रसाद बौद्ध, सतीश चंद्र, डॉ रामनरेश, विनोद कुमार गौतम, सहित सैकड़ों लोगों की उपस्थिति रही। क्रार्यक्रम की अध्यक्षता मंच के अध्यक्ष श्रेध्दय रामचन्द्र प्रसाद त्यागी जी ने किया तथा संचालन मंच के महासचिव राजेश कुमार बौद्ध जी ने किया।