World Breastfeeding Week
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विश्व स्तनपान सप्ताह के तहत आयोजित होंगे विभिन्न कार्यक्रम

देहरादून: उत्तराखंड में विश्व स्तनपान सप्ताह 01 से 07 अगस्त से मनाया जा रहा है। इस वर्ष की थीम “अंतर को पाटना: सभी के लिए स्तनपान सहायता”है, जो माताओं और बच्चों के स्वास्थ्य के महत्व पर जोर देती है। इस दौरान विभिन्न जागरूकता कार्यक्रम, कार्यशालाएं और स्वास्थ्य शिविर प्रदेशभर में आयोजित कर लोगों को मां के स्तनपान के महत्व के लिए जागरूक करना है।

विश्व स्तनपान सप्ताह के अवसर पर राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन निदेशक स्वाति एस. भदौरिया ने बताया कि विश्व स्तनपान सप्ताह 2024 के दौरान विभिन्न जागरूकता कार्यक्रम, कार्यशालाएं व स्वास्थ्य शिविर समस्त जनपदों में आयोजित किए जाएंगे। इन कार्यक्रमों का मुख्य उद्देश्य माताओं को स्तनपान के फायदों के बारे में जानकारी देना व उन्हें इसके लिए प्रोत्साहित करना है।

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मिशन निदेशक ने बताया कि मां का दूध शिशु के व्यापक, मानसिक विकास,शिशु को डायरिया, निमोनिया और कुपोषण से बचाने के लिये और बच्चे के सम्पूर्ण स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है। नियमित स्तनपान से नवजात शिशुओं की मृत्यु दर को 20 प्रतिशत तक, 05 वर्ष के आयु वर्ग के बच्चों का 13 प्रतिशत तक,डायरिया से होने वाली मृत्युओं को 11 गुना तक कम किया जा सकता है। शिशु के जन्म उपरांत प्रथम घंटे के भीतर स्तनपान कराना आवश्यक है और प्रथम छ: माह तक केवल मां का दूध ही दिया जाये। उन्होंने बताया कि स्तनपान से एंटीबॉडी मां से सीधे बच्चे तक पहुंचती है,जो बच्चे की रोग-प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाता है,नवजात शिशुओं के जीवित रहने में मदद करता है व आजीवन स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है। जिसको लेकर प्रदेश के सभी चिकित्सा इकाइयों में स्तनपान की महत्व को लेकर प्रसूता व धात्री महिलाओं को जागरुक किया जाएगा। मिशन निदेशक की ओर से सभी माताओं से अनुरोध किया गया कि वे स्तनपान सप्ताह में आयोजित होने वाले कार्यक्रमों में भाग लें और स्तनपान के माध्यम से अपने बच्चों के स्वस्थ भविष्य की नींव रखें।